छत्तीसगढ़ पुलिस के लिए गर्व का क्षण — आईजी रामगोपाल गर्ग का शोध लेख राष्ट्रीय पुलिस अकादमी जर्नल में शामिल


दुर्ग/ छत्तीसगढ़ पुलिस के लिए गर्व का विषय है कि दुर्ग रेंज के पुलिस महानिरीक्षक रामगोपाल गर्ग (IPS) का शोध लेख “Use of Technology in Policing – Investigation of Bank Dacoity Case” प्रतिष्ठित *SVPNPA Journal* में प्रकाशित हुआ है। यह पत्रिका देश की सर्वोच्च पुलिस प्रशिक्षण अकादमी — सरदार वल्लभभाई पटेल राष्ट्रीय पुलिस अकादमी, हैदराबाद द्वारा प्रकाशित की जाती है, जो पुलिसिंग के क्षेत्र में उत्कृष्ट शोध और नवाचारों के लिए जानी जाती है।
इस शोध लेख में रामगोपाल गर्ग द्वारा रायगढ़ शहर में हुई एक बड़ी बैंक डकैती की विवेचना के दौरान *Gait Pattern Analysis* और *CCTV Footage Analysis* जैसी अत्याधुनिक तकनीकों के प्रयोग को विस्तार से बताया गया है। यह पहली बार था जब छत्तीसगढ़ में अपराधियों की पहचान स्थापित करने के लिए *Gait Pattern Analysis* तकनीक का उपयोग किया गया। इस तकनीक के माध्यम से आरोपियों की चाल (gait) के विश्लेषण को वैज्ञानिक प्रमाण के रूप में प्रयोग किया गया, जिससे अपराध की तह तक पहुँचने और अपराधियों की उपस्थिति सिद्ध करने में सफलता मिली।
लेख में बताया गया है कि कैसे तत्कालीन डीआईजी रायगढ़ के रूप में श्री गर्ग ने अपनी तकनीकी समझ का उपयोग करते हुए न केवल अपराध का 100% खुलासा कराया, बल्कि बैंक डकैती में लूटे गए *₹5.62 करोड़ रुपये* की संपूर्ण बरामदगी मात्र 15 घंटे में करवाई। इस प्रकरण ने छत्तीसगढ़ पुलिस की पेशेवर दक्षता और तकनीकी क्षमता को नई ऊँचाई दी।
इस शोध पत्र में Gait Analysis की वैज्ञानिक अवधारणा, उसके सिद्धांत, सीमाएँ, और अदालत में इसके प्रमाणिक महत्व का भी उल्लेख किया गया है। साथ ही यह भी रेखांकित किया गया है कि आधुनिक युग में तकनीक आधारित विवेचना — जैसे *CCTV Analysis, Data Correlation, Mobile Tracking,* और *Forensic Tools* — कैसे पुलिसिंग को अधिक प्रभावी और वैज्ञानिक बना रही है।
शोध लेख में यह भी उल्लेख किया गया है कि इस प्रकरण के पश्चात श्री गर्ग ने CCTV कैमरों के लोकेशन और विवरण के प्रबंधन हेतु *Trinayan App*, चोरी हुए वाहनों की जानकारी हेतु *Sashakt App* विकसित कराया, जिससे अपराध अन्वेषण सुगम हुआ है ।
यह उपलब्धि न केवल दुर्ग रेंज पुलिस बल्कि पूरे छत्तीसगढ़ पुलिस के लिए गर्व का विषय है।
आईजीपी रामगोपाल गर्ग, जो पुलिसिंग में तकनीकी नवाचारों जैसे *Sashakt* एवं *Trinayan* ऐप्स के लिए भी प्रसिद्ध हैं, निरंतर पुलिस बल को आधुनिक तकनीक से सशक्त करने के प्रयासों में अग्रणी रहे हैं।
यह शोध पत्र पुलिस विवेचना में तकनीक के वैज्ञानिक उपयोग का जीवंत उदाहरण प्रस्तुत करता है — यह दर्शाता है कि जब परंपरागत पुलिसिंग को आधुनिक तकनीक से जोड़ा जाता है, तो परिणाम कितने प्रभावशाली और सटीक हो सकते हैं।